प्रदेश में अरबों रुपये की वक्फ संपत्तियों की स्थिति क्या है, और उनके कार्यों की प्रक्रिया किस तरह संचालित की जा रही है, अब इसकी जानकारी सार्वजनिक हो पाएगी। आपको बतादे उत्तराखंड में विश्व प्रसिद्ध पिरान कलियर शरीफ दरगाह के साथ ही प्रदेश की अरबों रुपये की 2000 से अधिक वक्फ संपत्तियों के बारे में भी सूचना देनी होगी। ये सभी संपत्तियां सूचना के अधिकार अधिनियम के दायरे में होंगी।
राज्य सूचना आयुक्त योगेश भट्ट ने इस मामले में आदेश पारित कर अपील का निपटारा भी कर दिया। उन्होंने वक्फ बोर्ड व वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन में छह महीने के भीतर आरटीआई एक्ट के तहत मैनुअल तैयार करने के निर्देश दिए। उत्तराखंड वक्फ बोर्ड के नियंत्रण में होने के बावजूद कलियर शरीफ दरगाह व वक्फ संपत्तियों को सूचना के अधिकार से बाहर रखा गया था।
जिसका वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष शादाब शम्स ने स्वागत किया है । उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की जीरो टॉलरेंस की सरकार है ऐसे में वक्फ बोर्ड में भी पारदर्शिता होनी चाहिए । सूचना के अधिकार का दायरा बढ़ने से लोगों के अधिकारों में बढ़ोतरी