चमोली जिला पंचायत अध्यक्ष रजनी भंडारी के खिलाफ उत्तराखंड सरकार ने बड़ी कार्रवाई करते हुए उन्हें जिला पंचायत अध्यक्ष के पद से हटा दिया है। इसके लिए पंचायतीराज सचिव हरिचंद सेमवाल ने आदेश जारी किया है। सरकार के इस आदेश पर रजनी भंडारी के पति और बदरीनाथ से विधायक राजेंद्र भंडारी ने आपत्ति जताते हुए कहा कि यह लोकतंत्र की हत्या है। उन्होंने कहा कि सत्ता की ताकत के बल पर सरकार ने यह फैसला किया है। उन्होंने यह भी कहा कि बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट को मैंने चुनाव में हराया है और इसी का वह सत्ता की ताकत के जरिए बदला ले रहे हैं। राजेंद्र भंडारी ने सख्त लहजे में यह भी कहा है कि समय सबका बदलता है आज उनकी सत्ता है। राजेंद्र भंडारी के इस आरोप पर बीजेपी के प्रदेश महामंत्री आदित्य कोठारी ने आपत्ति जताते हुए कहा कि सरकार ने सत्ता का दुरुपयोग नहीं किया है। पूरी जांच हुई है और जांच में भ्रष्टाचार की पुष्टि हुई है। उन्होंने कहा कि इसके खिलाफ कार्रवाई होती है वह बौखलाकर अनर्गल बयानबाजी करता ही है। उन्होंने कहा कि धामी सरकार जीरो टॉलरेंस की नीति के तहत काम कर रही है और भ्रष्टाचार को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। आपको बता दें कि रजनी भंडारी पर 2012-13 में आयोजित नंदा राजजात के निर्माण कार्य के टेंडर में गड़बड़ियों का आरोप है। हालांकि शासन ने रजनी भंडारी को पिछले साल भी इन्हीं आरोपों के आधार पर पद से हटाया था, लेकिन कोर्ट से बहाली के आदेश के बाद रजनी भंडारी अपने पद पर बनी रहीं। अब इस मामले में राजेंद्र भंडारी ने कहा है कि वह कानूनी राय लेने के बाद आगे की कार्रवाई करेंगे।